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दिल्ली

अरविंद केजरीवाल ने गिरफ्तारी और रिमांड के खिलाफ दिल्ली हाईकोर्ट में की दायर याचिका। हाईकोर्ट से कल ही सुनवाई की लगाई गुहार

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने अपनी गिरफ्तारी और शुक्रवार को ट्रायल कोर्ट द्वारा ईडी को दी रिमांड के खिलाफ दिल्ली हाईकोर्ट की शरण ली है, उन्होंने अपनी याचिका में हाईकोर्ट से तत्काल सुनवाई की मांग करते हुए कल यानी रविवार 24 मार्च को ही सुनवाई की गुहार लगाई है।
केजरीवाल ने अपनी याचिका में दलील दी है कि उनकी गिरफ्तारी और रिमांड आदेश दोनों अवैध हैं और वह तुरंत हिरासत से रिहा होने के हकदार हैं। साथ ही उन्होंने कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश से रविवार यानी 24 मार्च को तत्काल सुनवाई की मांग की है।
ईडी ने गुरुवार को केजरीवाल के घर पर सर्च के बाद उन्हें गिरफ्तार कर लिया था और शुक्रवार को दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट के समक्ष पेश किया है। जहां से कोर्ट ने केजरीवाल को 28 मार्च तक ईडी की रिमांड पर भेज दिया है।  ईडी ने केजरीवाल को अदालत में पेश कर दस दिन की रिमांड मांगी थी, लेकिन अदालत ने जांच एजेंसी को 6 दिन की रिमांड दी है. अब उन्हें 28 मार्च को दोपहर 2 बजे कोर्ट के समक्ष पेश किया जाएगा.
आपको बता दें कि गुरुवार शाम को ईडी की टीम अचानक से 10वां समन लेकर केजरीवाल के घर पहुंच गई थी और करीब 2 घंटे तक पूछताछ करने के बाद ईडी ने केजरीवाल को शराब नीति मामले में गिरफ्तार कर लिया था। जिसके बाद शुक्रवार को केजरीवाल को राउज एवेन्‍यू कोर्ट में पेश किया गया और कोर्ट ने उन्हें 7 दिनों तक के लिए ईडी की हिरासत में भेज दिया।
ईडी ने रिमांड कॉपी में कहा कि शराब नीति के निर्माण, कार्यान्वयन और अनियमितताओं से अपराध की आय के उपयोग में अरविंद केजरीवाल की भूमिका है।  ईडी ने कहा कि सीएम केजरीवाल दिल्ली सरकार के मंत्रियों, AAP नेताओं और अन्य व्यक्तियों की मिलीभगत से दिल्ली शराब नीति घोटाले के मुख्य साजिशकर्ता हैं
जांच एजेंसी ने कहा कि अरविंद केजरीवाल कुछ व्यक्तियों को लाभ पहुंचाने के लिए शराब नीति 2021-22 तैयार करने की साजिश में शामिल थे और उक्त नीति में लाभ लेने के बदले उन्होंने शराब व्यवसायियों से रिश्वत ली थी।
रिमांड नोट में ED ने लिखा है कि शराब नीति बनाने में केजरीवाल की अहम भूमिका है। इसके बदले में जो पैसा मिला उस पैसे को गोवा चुनाव में लगाया गया था।
ईडी ने कहा कि विजय नायर और मनीष सिसोदिया के साथ मिलकर साउथ लॉबी से पैसा लिया गया। ED ने अपनी रिमांड अर्जी में कहा कि शराब नीति साउथ ग्रुप को दिए जाने वाले लाभों को ध्यान में रखते हुए विजय नायर, मनीष सिसोदिया, साउथ ग्रुप के सदस्यों और अन्य लोगों की मिलीभगत से बनाई गई थी।
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